Requesting everyone to share this book with your family and friends. This is really having a solution for all corona related queries. Please share it as much as possible, it can really help someone. For any corona related queries, Call on +917290047401.
Call Girl Indore * 7001035870 Book Hot And Sexy Girls
COVID Pustika by Felix Hospital
1.
2. कोरोना बीमारी रोगी को क
ै से सं िमत करती ह ?
कोरोना क
े या ल ण ह ?
कोरोना से बचाव- मा क :-कोरोना से लड़ने का सबसे मजबूत हिथयार ( या कर, या ना कर)
कोरोना का घर म इलाज : या सावधािनयां बरत ?
कब हॉ पटल जाएं ? इमरजसी म या कर?
कोरोना पीिड़त क देखरेख : ज री सलाह
कोरोना क
े आ टर इफ़
े टस से क
ै से िनपट ?
खांसी का खा मा क
ै से कर ?
थकान को क
ै से दर कर ?
ू
लैक फ
ं गस जैसे खतरनाक इ फ
े श स से क
ै से बच ?
बुरी आदत को ाग द जैसे शराब और िसगरेट
अ छी डाइट ल
कोिवड क
े बाद नए िनयम का पालन कर
साँस से जुड़े यायाम कर
खुद को िबजी रख
पूरी न द ल
साँस कम आने पर या कर ?
पॉ ज टव रह
खोयी यी शि क
ै से वापस लाएं ?
इमोशनल टथ क
ै से वापस लाएं ?
खुद कोरोना पर िवजयी होने पर कर दसर क मदद
ू
कोरोना से जुड़े क
ु छ खास सवाल
2
िवषय सूची
3
4
6
7
9
10
11
12
14
16
17
18
20
21
22
23
24
25
26
27
28
29
3. कोरोना बीमारी रोगी को क
ै से सं िमत करती ह ?
3
कोिवड -19 हाल ही म खोजे गए कोरोना वायरस क
े कारण होने वाला एक सं ामक रोग ह।
ै जब एक
सं िमत यि खांसता या छ कता ह,ै तब उसक
े मुंह या नाक से िनकलने वाली बूंदो क
े मा यम से कोिवड-19
वायरस मु य प से फ
ै लता ह।
ै यह वायरस नाक, मुंह और आंख क
े मा यम से शरीर म वेश करता ह।
ै हाल
क
े क
ु छ अ ययन से पता चला है िक यह वायरस हवा से भी आ सकता ह।
ै एयर क
ं डीश ड द तर , एसी क
ै ब-
बस , शॉिपंग मॉल और िसनेमाघर क
े बंद वातानुक
ू लत वातावरण म सं मण क मिहन बूंदे हवा म अटक रह
सकती ह, उनसे यह फ
ै ल सकता ह।
ै यहां तक िक जब आप िकसी सं िमत यि क
े सीधे संपक म नह ह, तब
भी यह फ
ै ल सकता ह।
ै
कोिवड-19 क
े फ
ै लने को इन तरीक से कम िकया जा सकता है:
संभव हो तो घर पर रहना, खासकर यिद आप 60 वष से अिधक या 5 वष से कम उ क
े ह, या िफर
Ÿ
डायिबटीज, हाइपरटशन (उ र ाप) या पुरानी बीमा रयो से त ह। घर पर आने वाल से िमलने से बच।
साबुन और पानी से िनयिमत अंतराल पर अपने हाथ और चेहरे को धोए।
ं
Ÿ
घर से बहार रह तो हर समय मा क पहने रह।
Ÿ
शारी रक दरी-घर से बाहर ह तो दसर से 6 फ
ु ट क दरी बनाए रख।
ू ू ू
Ÿ
जन चीज और सतह को अकसर छते ह , उ ह िनयिमत प से क टाणुनाशक से साफ कर ।
ू
Ÿ
द तर, मॉल जैसी सटली एयर क
ं डीश ड और बंद जगह से बचना, जहां ताजी हवा पया नह आती।
Ÿ
संतु लत भोजन क
े मा यम से सही पोषण बनाए रखना, ब त सारे तरल पदाथ क
े साथ शरीर म पानी क
Ÿ
मा ा कायम रखना, ताजे फल क
े रस, हबल पेय और ह दी वाले दध क
े मा यम से इ युिनटी (शरीर ितर ा)
ू
को मजबूत करना।
रोज यायाम और यान करना।
Ÿ
िनयिमत प से बताई गयी दवाएं लेना, अपने मन से दवाएं न ल।
Ÿ
बीमार लोग क
े पास जाने से बच।
Ÿ
4. तेज़ बुखार खांसी
तेज़ सर दद
जुकाम
सांस लेने म तकलीफ होना
गले म खराश
या ह ये तीन ल ण ?
कोरोना क
े शु आती ल ण :-
कोरोना वायरस से िसत लोग म शु आती तौर पर होने वाले ल ण
कोिवड -19 क
े सामा य ल ण :-
कोरोना वायरस क
े क
ु छ सामा य ल ण है जनसे सतक रहने क ब त आव यकता है ।
शरीर म दद एवं पीडा
़
Ÿ
गले म खराश
Ÿ
द त लगना
Ÿ
आँख आना / आँख म तकलीफ होना
Ÿ
सरदद / तेज़ सरदद
Ÿ
वाद या गंध का चला जाना
Ÿ
वचा पर दाने या हाथो क उंग लय या पैर क
Ÿ
उंग लय का काटना , चुभन, ला लमा
4
कोरोना क
े या ल ण ह ?
5. कोरोना वायरस क
े गंभीर ल ण :-
वतमान म कोरोना क
े ल ण :-
सांस लेने म क ठनाई या सांस क तकलीफ
Ÿ
ऑ सीज़न लेवल का िगरना
Ÿ
सीने म दद या दबाव क शकायत
Ÿ
बोलने और चलने-िफरने म परेशानी
Ÿ
शरीर का टू टने लगना
Ÿ
वतमान म कोरोना क
े क
ु छ नए ल ण उभर कर आ रहे ह जैसे :- जीभ पर ध बे और सूजन का उभरना , कन
Ÿ
पर ला लमा , कन पर जलन , पाँव क
े तलव म जलन , पैर क
े तलव म सूजन , कन एलज , डाय रया ,
उ टी द त , अपच , पेट म दद , बहती ई नाक , सुखी खांसी , बुखार ।
िदसंबर 2020 क
े बाद कोरोना क
े स म क
ु छ कमी देखी जा रही थी । परंतु अचानक से इस बीमारी का एक
Ÿ
नया टेन देखा गया । जसका असर सबसे पहले महारा और क
े रल म देखा गया । यह नया टेन यादा
खतरनाक बताया जा रहा है । अभी तक सामा य कोरोना से लड़ना मु कल हो रहा था और यह नया टेन
कोरोना का और भी ताकतवर वायरस बताया जा रहा है ।
5
कोरोना क
े या ल ण ह ?
6. वै सनेशन से ही बचाव संभव
भारत ने कोरोना क रोकथाम क
े लए ब त काम िकया ह।
ै भारत ही अक
े ला ऐसा देश है जसने कोरोना क
वै सीन को न िसफ डव
े लप िकया ब क दसरे देश को भी वै सीन उपल ध करवाया है । भारत ने अभी तक 2
ू
वै सीन कोिवशी ड और कोवै सीन डव
े लप कर ली है और अब भारत 5 और वै सी स पर काम कर रहा ह।
ै
16 जनवरी 2021 से भारत म वै सीनेशन का काम जारी ह।
ै इन दोन वै सी स को आपतकालीन वै सीन
क मंजूरी िमली ई ह।
ै भारत म अब 45 साल से अिधक उ क
े सभी लोग को टीकाकरण ारंभ कर िदया गया
ह।
ै वह 12 अ ैल 2021 तक भारत म 10,45,28,565 लोग को कोरोना वै सीन लगाई जा चुक है जो देश क
क
ु ल आबादी का साढे सात फ सदी िह सा ह।
ै
़
बचाव क
े उपाय
खुद को इसक
े रोिगय से दर रख। अगर आप इसक चपेट म आ जाएं तो दसर को इससे बचाए।
ं
Ÿ ू ू
आपक
े आसपास इस रोग क
े फ
ै लने क आशंका हो, तो नाक और मुंह को अ छी तरह ढक कर रख। एक
Ÿ
बार इ तेमाल करने क
े बाद माल फक द।
खांसने और छ कने क
े बाद हाथ साबुन से धोए।
ं
Ÿ
आंख , मुंह और नाक को छने से बच, अ यथा इसक चपेट म आ सकते ह।
ू
Ÿ
रोगी ऑिफस या भीड़ वाली जगह पर न जाए।
ं
Ÿ
बरत ज री सावधानी
अपनी नाक और मुंह को ढक कर रख।
Ÿ
खांसते या छ कते ए अपनी नाक और मुंह को ट यू या मुड़ी कोहनी से ढक।
Ÿ
सावजिनक थान , सावजिनक यातायात क
े साधन म क
ु छ भी छने या िकसी से हाथ िमलाने से बच।
ू
Ÿ
स जी और फल को खाने से पहले अ छी तरह धोए।
ं
Ÿ
जन देश या जगह पर इस बीमारी का कोप फ
ै ला ह,ै वहां या ा करने से परहज
े कर।
Ÿ
घर को साफ रख और बाहर से आने वाली चीज को भी साफ करक
े ही घर म लाए।
ं
Ÿ
नॉनवेज, खासकर सी-फ
ू ड खाने से बच, य िक कोरोना वायरस क
े मामले अब तक सी-फ
ू ड क
े कारण ही
Ÿ
सामने आए ह।
6
कोरोना से बचाव- मा क :-कोरोना से लड़ने का सबसे मजबूत हिथयार
7. घर पर ही संभव है कोरोना का इलाज, पर बरत ज री सावधािनयां
होम आइसोलेशन क
े लए ज री िनयम- होम आइसोलेशन क
े लए कोरोना क
े मरीज क
े लए घर म अलग
और हवादार कमरा होना ज री ह।
ै मरीज क
े लए एक अलग टॉयलेट होना चािहए। मरीज क 24 घंटे देखभाल
क
े लए िकसी ना िकसी को होना चािहए। यान देने वाली बात है िक होम आइसोलेशन म रह रहे मरीज क
े
ल ण गंभीर नह होने चािहए. गंभीर होने पर मरीज को अ पताल म भत होने क सलाह दी जाती ह।
ै
होम आइसोलेशन म मरीज को या करना चािहए ?
मरीज को अपने कमरे क खडिकयां खुली रखनी चािहए। मरीज को पूरे समय तीन लेयर वाला मा क पहनना
़
चािहए और इसे हर 6-8 घंटे म बदलना चािहए। साबुन और पानी से हाथ को 40 सेकड तक धोना चािहए। यादा
छई जाने वाली सतह को छने से बच। अपने बतन, तौ लया, चादर कपडे िब क
ु ल अलग रख और िकसी और को
ु ू ़
इ तेमाल ना करने दे।
घर म रह रहे मरीज को िदन म दो बार अपने बुखार और ऑ सीजन क
े तर क जांच करनी चािहए। शरीर का
तापमान 100 फॉरेनहाइट से यादा ना ह । वह , ऑ सीमीटर से ऑ सीजन का तर देख, SpO2 रेट 94
ितशत से कम ना हो। अगर आपको अ य कोई और बीमारी है तो उसका इलाज भी साथ-साथ जारी रख।
आइसोलेशन क
े दौरान शराब, मोिक
ं ग या िफर िकसी नशीली चीज का सेवन िब क
ु ल ना कर। डॉ टर क
सलाह का पालन कर और िनयिमत प से दवाइयां ल।
क
ै सी हो डाइट ?
कोरोना क
े मरीज को घर पर बना ताजा और सादा भोजन करना चािहए। मौसमी, नारंगी और संतरा जैसे ताजे
फल और बी स, दाल जैसी ोटीन से भरपूर आहार ल। खाने म अदरक, लहसुन और ह दी जैसे मसाले का
उपयोग कर। िदन म रोज 8-10 िगलास पानी िपए।
ं
लो फ
ै ट वाला दध और दही खाना चािहए। नॉनवेज खाने वाल को कनलेस िचकन, मछली और अंडे का
ू
सफ
े द भाग खाना चािहए। क
ु छ भी खाने से पहले उसे अ छी तरह धो ल। कोरोना क
े मरीज का खाना कम
कॉले टॉल वाले तेल म पकाना चािहए।
7
कोरोना का घर म इलाज : या सावधािनयां बरत ?
8. या नह खाएं ?
कोरोना क
े मरीज को मैदा, तला आ खाना या जंक फ
ू ड नह खाना चािहए। िच स, पैक
े ट जूस, को ड िडक
ं ,
चीज़, म खन, मटन, ाइड, ोसे ड. ाइड, ोसे ड मीट और पा म ऑयल जैसे अनसैचुरेटेड फ
ै स से दर रहना
ू
चािहए। अ डे का पीला भाग स ाह म एक बार ही खाए।
ं स ाह म नॉनवेज दो-तीन बार से यादा ना खाए।
ं
होम आइसोलेशन क अविध- आमतौर पर होम आइसोलेशन क अविध 14 िदन तक रहती ह।
ै अगर मरीज
को आ खरी 10 िदन म बुखार या अ य कोई ल ण नह ह,ै तो वो डॉ टर से पूछकर होम आइसोलेशन ख म
कर सकते ह।
यान म रख ये बात- कोरोना वायरस शरीर क
े साथ-साथ मरीज को मानिसक तौर पर भी कमजोर कर देता ह।
ै
इस लए इलाज क
े दौरान मरीज को अपनी मानिसक सेहत का भी पूरा याल रखना चािहए। आप होम
आइसोलेशन म रहते ए भी फोन और वीिडयो कॉल क
े ज रए अपने दो त और र तेदार क
े संपक म रह सकते
ह। इस दौरान अपनी पसंदीदा िकताब पढ़। आप मोबाइल पर अपने पसंदीदा शो देखने क
े साथ ह क
े -फ
ु क
े
गेम भी खेल सकते ह। यान रख िक खुद पर ब त यादा दबाव ना डाल और खूब आराम कर।
8
9. सं िमत होने वाले 98 फ सदी लोग िबना गंभीर मामले क
े ठीक हो जाते ह। पॉ ज टव आने पर खुद को घर म
आइसोलेट कर लेना चािहए और अपने साथ थमामीटर और प स ऑ सीमीटर रख ल। इसक
े मुतािबक, “पहले
आप अपना तापमान चेक कर और ऑ सीमीटर क रीिडग
ं ल। इसक
े बाद घर म 6 िमनट तक टहल। इसक
े
बाद िफर से टपरेचर और ऑ सीमीटर से रीिडग
ं ल। टहलने से पहले और टहलने क
े बाद क रीिडग
ं को नोट कर
ली जए. ऐसा िदन म दो से तीन बार ज र कर।”
डॉ टर क
े अनुसार पानी, जूस और दसरे तरल खा पदाथ का सेवन करते रह। इसक
े अलावा योग और
ू
ाणायाम कर, खुद को खुश और शांत रख। ऐसा करने से ह क
े ल ण वाले या कम गंभीर मरीज कोरोना
वायरस को हरा दगे। हालांिक क
ु छ लोग म गंभीर ल ण होते ह और कई िदन तक तबीयत ठीक नह हो पाती
ह।
ै क
ु छ लोग को सांस लेने क भी तकलीफ होती ह।
ै
अ पताल म कब भत होने क ज रत है?
यादातर कोरोना मरीज घर म आइसोलेट होकर ठीक हो जाते ह। अगर ऑ सीमीटर पर आपका बेसलाइन
सैचुरेशन 94 परसट से कम होता है या िफर 6 िमनट टहलने से पहले और बाद मे ली गई रीिडग
ं म 4 ितशत या
इससे यादा क िगरावट आती है तो तुरंत अ पताल से संपक करना चािहए. साथ ही आप बेड पर पेट क
े बल लेट
जाएं यानी पेट नीचे और पीठ ऊपर. इससे ऑ सीजन क
े लेवल म सुधार होगा।
“अगर ऑ सीजन सैचुरेशन लेवल ठीक है और बुखार क
े अलावा िकसी तरह क िद त नह है तो आपको
िसफ पैसािसटामोल लेने क ज रत ह।
ै ” हालांिक बुखार क
े अलावा दसरे ल ण िसर दद, खांसी, सांस म
ू
तकलीफ, बदन दद, थकान जैसी थित लगातार रहने पर डॉ टर से सलाह ज र लेनी चािहए।
9
कब हॉ पटल जाएं ? इमरजसी म या कर?
10. कोरोना वायरस एक बार िफर कहर बरपा रहा ह।
ै देश म कोिवड-19 (Covid-19) मरीज का ाफ तेजी से ऊपर
जा रहा ह।
ै नए सं िमत क
े अलावा मौत और ए टव क
े स क
े आंकड म भी इजाफा जारी ह।
ै दसरी लहर म तो
़ ू
हालात ऐसे हो गए ह िक मरीज को अ पताल म जगह नह िमल रही। ऐसे म कई लोग घर पर ही अपने प रजन
क देखरेख करने पर मजबूर ह।
कोरोना वायरस से बचने क पहली शत यही है िक आपको सं िमत या संभािवत मरीज से दरी बनाकर रखनी
ू
ह।
ै लेिकन घर म बीमार क देखरेख कर रहे लोग इस बात का पालन नह कर पाते ह। ऐसे म उनक
े सामने दो
थित होती ह- या तो वे अपने प रजन को उनक
े हाल पर छोड द, या खुद का याल रखते ए उ ह भी ज द
़
व थ कर। अब यह काम िबना दरी क
े करना तो मुमिकन नह ह,ै लेिकन हे थ एजसी सटस फॉर िडसीज
ू
क
ं टोल एड
ं ि वशन (CDC) क सलाह आपक मदद कर सकती ह।
ै
संपक सीिमत कर: अगर आप घर म िकसी मरीज क देखरेख कर रहे ह, तो सबसे पहले पया दरी रख।
ू
जानकार शु आत से ही 6 फ ट क दरी को सुर त बता रहे ह। अपनी चीज को मरीज क
े साथ साझा न कर
ू
और अगर हो सक
े , तो खाना अलग-अलग खाए।
ं मरीज को खाना परोसते व ल ज का इ तेमाल बेहतर ह।
ै
इसक
े अलावा आपको यादा से यादा समय घर म ही िबताना चािहए. ऐसा करने से आपको दसर को भी
ू
सुर त रख सकगे। अगर मुमिकन हो, तो मरीज को घर म भी आइसोलेट ही रहना चािहए
मा क और ल ज कब पहन: मरीज क
े कमरे म वेश करने से पहले ही खुद भी मा क पहन और उ ह भी
चेहरा कवर करने क
े लए कह। जब आप मरीज से जुडी िकसी भी चीज को हाथ लगाए,ं तो ल ज पहनना
़
सुिनि त कर। हाथ धोते रह और साथ ही आंखो, चेहरे और नाक को छने से बच।
ू
पहले साफ और िफर िडसइंफ
े ट: हर रोज घर क ऐसी चीज का याल रख, जो बार-बार छने म आती ह।
ू
जैसे- डर नॉब, हडल, क
ु स आिद। अगर ये गंद ह, तो सबसे पहले सतह को साबुन क
े पानी से साफ कर और घरेलू
ू
िडसइफ
ं े ट का इ तेमाल कर। िडसइफ
ं े ट करते समय लेबल पर मौजूद जानकारी को पहले ठीक तरह से पढ़
ल।
अपना वा य भी मॉिनटर कर: मरीज क देखभाल करने वाल को घर म रहकर खुद क
े वा य क भी
िनगरानी करनी चािहए। अगर आपको कोरोना वायरस से जुडे ल ण, जैसे- बुखार, सांस लेने म परेशानी आिद
़
क सम या हो रही ह,ै तो सतक हो जाए।
ं सांस लेने म परेशानी होना यादा िचंता क बात हो सकती ह।
ै
10
कोरोना पीिड़त क देखरेख : ज री सलाह
11. 11
कोरोना क
े आ टर इफ़
े टस से क
ै से िनपट ?
कोरोना से ठीक होने क
े बाद इन 4 साइड-इफ
े स से जूझते ह मरीज़
1. थकावट
बीमारी से ठीक होने क
े बाद पहले जैसी ताकत पाने म क
ु छ समय लगता ह,ै लेिकन कोरोना वायरस म देखा जा
रहा है िक मरीज़ को ठीक होने क
े कई ह त , यहां महीन बाद भी थकावट और कमज़ोरी महसूस होती ह,ै जो
एक िचंता का िवषय बन गया ह।
ै न िसफ COVID से जुडी थकावट पर िवशेष ने काफ चचा क ह,ै ब क
़
अ ययन म शािमल लगभग 60% रोिगय ने माना क ठीक होने क
े ह त बाद भी उ ह थकान, सु ती और
कमज़ोरी महसूस हो रही थी। इसक
े अलावा, असंतु लत ऊजा क
े तर क वजह से भी रोगी मांसपे शय म दद,
सुइय क
े चुभने जैसे दद जैसे ल ण को अनुभव कर सकते ह।
2. सांस लेने म तकलीफ
सांस लेने म तकलीफ और छाती म मरोड जैसा दद, क
ु छ ऐसे ाथिमक ल ण हो सकते ह जो यह बता सकते ह
़
िक आपका COVID सं मण िकतना बुरा ह।
ै हालांिक, क
ु छ मरीज़ ऐसे भी ह, जो सं मण से ठीक हो गए ह,
लेिकन सांस क तकलीफ लंबे समय तक रहती ह।
ै सांस लेने म तकलीफ, धडकनो का तेज़ होना, कोिवड-19
़
का दसरा सबसे आम भाव माना जा रहा ह।
ै
ू
3. या ा त का कमज़ोर होना
रोिगय म से एक-चौथाई लोग, जनक
े कोिवड-19 क
े ल ण म यम या गंभीर थे, उ ह ने माना ईस िक बीमारी
से ठीक होने क
े बाद उ ह ने यूरोसाइकोलॉ जकल संबंिधत ल ण महसूस िकए। रकवरी सटर क
े अंदर और
बाहर चल रही चीज़, रोिगय म मानिसक परेशानी, या ा त या यवहार से जुडी सम याएं पैदा कर सकती ह।
़
मौत का डर, दद, न द न आना, एक ही जगह लेटे रहना या िकसी से बात न कर पाना, अक
े लापन, क
ु छ ऐसी
चीज़ ह जो कोरोना वायरस क
े मरीज़ क
े लए थित को और भी मु कल बना देती ह।
4. तनाव और बेचैनी
कोरोना वायरस महामारी क
े बाद लॉकडाउन ने हम सभी क
े ज़ंदगी म तनाव और बेचैनी को बढा िदया ह।
ै जो
़
लोग कोरोना से सं िमत होकर ठीक ए उनक
े लए ऐसी थित को झेलना और भी मु कल हो जाता ह।
ै ऐसा
देखा जा रहा है िक बेचैनी और तनाव लंबे समय तक उनका पीछा नह छोड रहा ह।
ै
़
12. 12
खांसी का खा मा क
ै से कर ?
सभी तरह क खांसी म ऐसे राहत पाएं
िदनभर गुनगुना पानी पीना
Ÿ
हर िदन 2 से 3 लीटर पानी पीना चािहए, शरीर म पानी क कमी न हो
Ÿ
ठंडी चीज खाने से बचना और ठंडी हवाओं से शरीर को बचाना
Ÿ
यादा तली ई और मसाले वाली चीज से बचना
Ÿ
स दय म अदरक, ल ग, काली िमच, क ी ह दी, मुलैठी आिद को िमलाकर काढा बनाकर पीना।
Ÿ ़
आयुवद क
े अनुसार खांसी रोकने म ये उपाय भी है कारगर
िकसी भी तरह क खांसी चाहे कोरोना वाली हो या सामा य
Ÿ सुबह टू थपे ट- श क जगह नीम क दातुन का इ तेमाल कर।
Ÿ िदन म िकसी भी समय 20 से 25 िमली लीटर ितल या ना रयल का तेल मुंह म भर ल और 5 से 7 िमनट तक
रखे रह। िफर क
ु ा करक
े फक द। आयुवद म इस ि या को ग डष कहते ह।
ू
Ÿ 50 एमएल सरस क
े तेल म 2 चुटक नमक िमलाकर 2 िमनट गम कर ल। िफर इस तेल से सीने क मा लश
कर।
Ÿ हर िदन सुबह े श होने क
े बाद नाक क
े दोन सुराख म उंगली से ितल, सरस या बादाम का तेल लगाए।
ं
Ÿ 4 ाम ता लसािद चूण + अ क भ म 250 िमली ाम + सुहागा 250 िमली ाम + शहद 2 च मच िमलाकर
पे ट बना ल िफर इसे धीरे-धीरे चाटना ह।
ै खांसी यादा है तो िदन म 4 से 5 बार और कम है तो 2 से 3 बार ले
सकते ह।
ाक
ृ ितक िचिक सा (नेचुरोपैथी)
इस मौसम म खांसी या जुकाम होने क सबसे बडी वजह होती ह,ै इसे ठीक करने का तरीका गलत होना। जहां
़
हम कम खाना या बंद कर देना चािहए, हम अपना भोजन बढा देते ह।
़
नेचुरोपैथी भोजन को दो भाग म बांटती ह:ै शुि कारक और पुि कारक
13. शुि कारक
जब हम सद , खांसी, बुखार क
ु छ भी हो तो शुि कारक भोजन लेना चािहए। शुि कारक मतलब है शरीर को
सफाई करने वाला भोजन। इससे शरीर का िडटॉ सिफक
े शन होता ह।
ै
या ल ?
सुबह (8 से 9 बजे): 250 एमएल पेठे का रस या ना रयल पानी
Ÿ
लंच से पहले (11 से 12 बजे): एक कटोरी क ी स जय का जूस जैसे बथुआ, टमाटर आिद।
Ÿ
लंच (1 से 2 बजे): 1 कटोरी हरी-स जय (िघया, सहजन, पालक आिद) का उबला आ पानी, इसम मसाले या
Ÿ
नमक न िमलाए।
ं हां, एक चुटक जीरा पाउडर िमला सकते ह।
शाम और रात म लंच वाली चीज को दोहरा सकते ह।
Ÿ
13
14. 14
थकान को क
ै से दर कर ?
ू
कोरोना क
े ह क
े ल ण वाले मरीज 14 िदन म ठीक हो जाते ह। हालांिक नेगे टव रपोट आने क
े बाद भी
थकान और कमजोरी कई िदन तक बनी रहती ह।
ै क
ु छ लोग को तो इससे पूरी तरह उबरने म 6-8 महीने तक
का समय लग जाता ह।
ै ज दी रकवरी और पुराने टीन म वापस आने क
े लए हे थ ए सप स क क
ु छ ट स
आपक
े काम आ सकती ह।
ै
सुबह ज दी उठ
सुबह ज दी उठने से आप अंदर से खुद को सकारा मक और ऊजावान महसूस करगे। सुबह क ताजी हवा और
धूप शरीर को ए टव बनाती ह।
ै सुबह-सुबह ए सरसाइज करने से मूड अ छा होता है और िदन अ छा गुजरता
ह।
ै इससे आप शारी रक ही नह मानिसक प से भी मजबूत ह गे।
आसान ए सरसाइज से कर शु आत
कोरोना से ठीक होने क ि या म िकसी भी तरह क ज दबाजी नह िदखानी चािहए। ब त भारी-भरकम
ए सरसाइज करने से बच, धीरे-धीरे वॉक से शु आत कर, ीिदंग ए सरसाइज और मेिडटेशन कर। इस समय
आपक
े शरीर को आराम क भी ज रत होती ह।
ै इस लए ह क -फ
ु क ए सरसाइज ही कर।
ाणायाम कर
घर पर रहते ए ऑ सीजन का तर सही रख। अनुलोम-िवलोम, ामरी, कपालभाित और भ का ाणायाम
करने से शरीर म ऑ सीजन क कमी नह होती ह।
ै इन ाणायाम को हर िदन िकया जा सकता ह।
ै
सुबह क धूप ल
हर िदन सुबह 30 िमनट तक धूप म बैठ। सुबह-सुबह क धूप ब त तेज नह होती ह।
ै सुबह क धूप म बैठने से
आपको िवटािमन D और एनज िमलेगी।
डाई ू स खाएं
हर िदन सुबह एक खजूर, मु ी पर िकशिमश, दो बादाम और दो अखरोट खाए।
ं यान रख िक ये सारे मेवे रात
भर पानी म भीगे ए होने चािहए। हर िदन डाई ू स खाने से आपका शरीर अंदर से मजबूत बनेगा।
15. 15
लंच पर द यान
कोरोना से ठीक होने क
े क
ु छ िदन बाद तक खाना ऐसा ही खाएं जो ह का और आसानी से पचने वाला हो। हर
िदन दाल का पानी िपएं और एक िदन छोडकर पौि क खचडी खाए।
ं इससे शरीर म ज दी मजबूती आएगी।
़ ़
मो रंगा का सूप
मो रंगा यानी सहजन म ब त औषधीय गुण होते ह। इसम क
ै ि शयम और फॉ फोरस होता ह।
ै ये हि य को
मजबूत करने क
े साथ ही िड ेशन, घबराहट और थकान को भी दर करता ह।
ै ह ते म दो-तीन बार मो रंगा का
ू
सूप ज र िपए।
ं
जीरा, धिनया और स फ क चाय
िदन म दो बार जीरा, धिनया और स फ क बनी चाय िपए।
ं ये शरीर को अंदर से साफ करता ह,ै सही वजन बनाए
रखता ह,ै तनाव घटाता है पाचन ि या सही रखता ह।
ै इसे खाना खाने क
े एक घंटे बाद पीना चािहए। इ यूिनटी
बढाने क
े लए आप हबल टी भी पी सकते ह।
़
रात म ज दी सोएं
कोरोना से ज दी और पूरी तरह ठीक होने म न द क ब त अहम भूिमका ह।
ै जतनी अ छी न द लगे, आप
उतनी ज दी ठीक ह गे। रात म ज दी सोने क को शश कर। टीवी और मोबाइल का कम इ तेमाल कर।
मा क और सोशल िड टिसंग
कोरोना से रकवरी क
े समय भी सावधानी ब त ज री है वरना थोडी सी लापरवाही आपका इ यून िस टम और
़
कमजोर कर सकती ह।
ै ब त ज री ना हो तो बाहर िब क
ु ल ना जाए।
ं अगर जाना भी पडे तो दो मा क लगाकर
़
जाएं और सोशल िड टिसंग का पूरा यान रख।
16. 16
लैक फ
ं गस जैसे खतरनाक इ फ
े श स से क
ै से बच ?
लैक फ
ं गस क शकायत अ सर कोिवड रकवरी क
े बाद आ रही ह। इसक
े कई िस ट स (Black fungus
symptoms) ह, जैसे दांत म दद, दांत का टू टना, जबड म दद, दद क
े साथ धुंधला या दोहरा िदखाई देना, सीने म
़
दद और सांस लेने म परेशानी होना आिद। इसक
े अलावा इसम यि क आंख लाल और पलक पर सूजन
िदखने लगती ह।
ै
नसल क
ं जेशन या-नी नाक क
े पास ला लमा पड जाना। यूएस सटर फॉर िडसीज क
ं टोल एड
ं ि वशन (US
़
Centre for Disease Control and Prevention) क
े अनुसार, Mucormycosis क चपेट म आकर करीब 54
ितशत लोग क मौत हो जाती ह।
ै
िक ह है लैक फ
ं गस का यादा खतरा ?
Mucormycosis मु य प से उन लोग को यादा भािवत करता है जो पहले से ही तमाम तरह क वा य
सम याएं झेल रहे ह और उनक दवाएं ले रहे ह। ऐसी िसचुएशन म मरीज का शरीर क टाणुओं और बीमारी से
लडने क मता खो देता है और फ
ं गल इनफ
े शन ऐसे लोग पर अपना भाव डालना शु कर देता ह।
ै
़
लैक फ
ं गस जैसे खतरनाक इ फ
े श स से क
ै से बच ?
हे थ ए सप स क
े अनुसार, अगर क
ु छ बात का यान द तो लैक फ
ं गस से बचा जा सकता ह।
ै इसक
े लए
डायिब टक लोग और कोरोना से ठीक ए लोग लड लूकोज पर नजर रख। टेरॉयड क
े इ तेमाल म समय और
डोज का पूरा यान रख या िफर बंद ही कर द। ऑ सीजन थेरेपी क
े दौरान टेराइल वॉटर का योग कर।
इ यूनोमॉ ूले टंग दवाओं का इ तेमाल करना बंद कर द। इसक
े साथ ही एट
ं ीबायो ट स और एट
ं ीफ
ं गल
दवाइय का सावधानी से इ तेमाल कर। खून म शुगर क मा ा (हाइपर लाइसेिमया) िनयंि त रख।
17. 17
बुरी आदत को ाग द जैसे शराब और िसगरेट
धू पान से न िसफ कई तरह क
े िदल क
े रोग का खतरा होता ह,ै ब क ये आपक
े इ यून िस टम को भी
कमजोर करने क
े लए ज मेदार ह।
ै इस लए इस बुरी आदत को जतनी ज दी हो सक
े छोड दी जए।
़
तंबाक
ू और शराब क
े शौक न ह तो यह लत आज ही छोड द। य िक इनक लत से कसर- लवर क बीमारी का
़
खतरा तो है ही, रोग से लडने क मता भी कम हो जाती ह। कोरोना सं मण से बचाने क
े लए बनी वै सीन
़
भी इन पर बेअसर ह।
ै वै सीन लगने क
े बाद ऐसे लोग म एट
ं ीबॉडी सबसे कम बनती ह। एसएन मेिडकल
कॉलेज क 12 लोग क र क जांच म यह जानकारी सामने आई ह।
ै
18. 18
अ छी डाइट ल
अ छा पोषण कोिवड-19 रोिगय और उन लोग क
े लए ब त ज री ह,ै जो धीरे-धीरे रकवर हो रहे ह। दरअसल,
कोिवड-19 क
े दौरान शरीर ब त कमजोर हो जाता ह।
ै ल ण से उभरने क
े बाद भी कई िदन तक यि अ छा
फ ल नह करता। इस तरह ज दी रकवर होने क
े लए सही तरह क
े आहार का सेवन करना ब त ज री ह।
ै
क
ु ल क
ै लोरी क आव यकता/RDA
कम मोटे: 5-30 kcal/ शारी रक वजन क
े अनुसार
Ÿ
अिधक वजन या मोटापा- 25-30kcal / kg IBW या समायो जत BW
Ÿ
कम वजन -25-35kcal / kg समायो जत BW
Ÿ
ोटीन क आव यकता: 1-1.5 ाम वा तिवक शारी रक वजन क
े अनुसार
Ÿ
वसा क आव यकता: क
ु ल क
ै लोरी का 25-30 ितशत
Ÿ
म टीिवटािमन
िवटािमन-डी: 10-1000 mcg/ day
Ÿ
िवटािमन -ई: 134-800 mg/ day
Ÿ
जंक: 30-220 mg/ day
Ÿ
िवटािमन सी: 200 mg से 3 g/ day
Ÿ
COVID रोिगय क
े लए पोषण संबंधी गाइडलाइ स
कोिवड रोिगय को बचा आ या बासी भोजन खाने से बचना चािहए।
Ÿ
काब हाइडट
े , फ
ै ट और ोटीन से भरपूर संतु लत डाइट ल।
Ÿ
रोगी क
े शरीर क
े अनुसार, ओरल यू टशन स ीम स और एट
ं ीऑ सीड स देने क को शश कर।
Ÿ
कोराना म िनयिमत शारी रक गितिविध और सांस लेने वाले क
ु छ यायाम को करने क सलाह दी जाती ह।
ै
Ÿ
19. शािमल कर फल और स जयां
इससे शरीर म ऊजा का तर बना रहता ह।
ै कोरोना पॉ जटव होने पर िवटािमन और िमर स से भरपूर फल और
स जयां अ छी मा ा म खाएग
ं े, तो फायदा होगा। आप चाह तो 70 ितशत कोको क
े साथ डाक चॉकलेट ले
सकते ह। कोिवड रोिगय क
े मुंह का वाद खराब हो जाता है या उ ह खाना िनगलने म िद त होती ह,ै ऐसे
लोग को थोडी-थोडी देर म नरम भोजन करने का सुझाव िदया जाता ह।
ै
़ ़
क
ै सा होना चािहए कोिवड रोिगय का Diet Chart?
1. ेकफा ट- वेज पोहा, चीला, नमक न उपमा, नमक न स जी सेवई, इडली स दो अंडे क सफ
े दी, ह दी
वाला दध और अदरक का पाउडर।
ू
2. दोपहर का भोजन- म टी ेन ौर रोटी, चावल, स जी पुलाव, खचडी, दाल या हरी स जी, गाजर या
़
ककडी का सलाद।
़
3. शाम का ना ता- अदरक क चाय , वेज, िचकन या इ यूिनटी सूप या ाउ स चाट। रोगी को द त क
े दौरान
अदरक क चाय और वेज खचडी खाना खािहए।
़
19
20. 20
कोिवड क
े बाद नए िनयम का पालन कर
बेहद ज री है िक आपक
े घर म एक अलग हवादार कमरा हो। साथ ही एक अलग टॉयलेट (Separate room
and toilet) भी हो जसे िसफ सं िमत मरीज ही इ तेमाल करे और प रवार क
े बाक सद य नह ।
अपने कमरे क खडिकयां खुली रखनी चािहए तािक हवा और धूप कमरे म आ सक
े ।
़
दो बार अपने बुखार और ऑ सीजन क
े तर क जांच करनी चािहए। शरीर का तापमान 100 फॉरेनहाइट से
यादा ना ह । वह , ऑ सीमीटर से ऑ सीजन का तर देख, SpO रेट 94 ितशत से कम ना हो। अगर
आपको अ य कोई और बीमारी है तो उसका इलाज भी साथ-साथ जारी रख। आइसोलेशन क
े दौरान शराब,
मोिक
ं ग या िफर िकसी नशीली चीज का सेवन िब क
ु ल ना कर। डॉ टर क सलाह का पालन कर और
िनयिमत प से दवाइयां ल।
21. 21
साँस से जुड़े यायम कर
अगर आप कोरोना से सं िमत होने क
े बाद ठीक हो रहे ह या आपको ह क
े ल ण ह तो आपको धीरे-धीरे
यायाम क शु आत करनी चािहए। आप योग म ाणायाम कर सकते ह। जैसे अनुलोम-िवलोम, ामरी,
कपालभाित और भ का ाणायाम जैसे आसन करने से शरीर का ऑ सीजन लेवल ठीक रहता ह।
ै इससे
आपको मानिसक शांित भी िमलेगी और ज द रकवरी होगी।
22. 22
खुद को िबजी रख
1. बेहतर िकताब पढ़नी चािहए।
2. िनि त समय पर यान (Meditation) करे।
3. अपने जीवन म एक ल य बनाकर उसे पूरा करने का यास कर।
4. अपने पसंद क ानवधक यू ूब (YouTube) वीिडयो देख।
5. इट
ं रनेट का सही उपयोग कर और जो सीखना चाहते ह उसे सीख।
23. 23
पूरी न द ल
बेहतर न द आपको ज दी रकवर होने म मदद करेगी और इससे आपक इ युिनटी भी अ छी रहग
े ी |
न द न आने पर या कर ?
पहला तरीका टेिचंग- थोड़ी सी टेिचंग आपको अ छी न द आने म मददगार सािबत हो सकती है |
दसरा तरीका- दोपहर म क
ै फ न न ल: दोपहर 2 बजे क
े बाद चाय, कॉफ कम िपए।
ं न द क गहरी अव था,
ू
जसम रैिपड आई मूवमट होता है उसे क
ै फ न भािवत करती ह।
ै
तीसरा तरीका- सोने से पहले मोबाइल से बच: नेशनल इं टी ूट ऑफ हे थ क
े मुतािबक, मोबाइल, टीवी,
क यूटर क लू न हाम न मेलाटोिनन क मा ा को कम करती ह।
ै पलक का झपकना भी कम होता ह।
ै
चौथा तरीका- कमरे का तापमान: नेशनल लीप फाउंडश
े न क
े मुतािबक, बेड म का तापमान 16-19 िड ी
से सयस क
े बीच होना चािहए। यह न द लाने म मदद करता ह।
ै
24. 24
साँस कम आने पर या कर ?
कोरोना वायरस क दसरी लहर ने पूरे देश म हडक
ं प मचा रखा ह।
ै अ पताल म आईसीयू बेड और ऑ सीजन
ू ़
क कमी से भी मरीज का बुरा हाल ह।
ै ऐसे म हे थ ऑथो रटीज लोग को घर म ही रकवर होने क सलाह दे
रही ह। डॉ टस का कहना है िक सांस म तकलीफ बढने पर सभी लोग को अ पताल आने क ज रत नह ह।
ै
़
अगर ऑ सीमीटर पर ऑ सीजन लेवल लगातार 90 क
े नीचे जा रहा है तभी अ पताल जाए।
ं इसक
े अलावा
जन लोग को सांस म तकलीफ हो रही है वो क
ु छ खास बात का यान ज र रख।
webmd क एक रपोट क
े मुतािबक, शरीर म ऑ सीजन क कमी होने पर गैस टोव, मोमब ी, फायर ेस,
िबजली या गैस हीटर जैसी चीज से करीब 5 फ ट दर रह. ऐसी चीज क
े नजदीक जाने से आपक िद त और
ू
यादा बढगी।
़
पट िथनर, एरयोसोल े, ीिनंग ूड जैसे ेमेबल ोड स का िब क
ु ल इ तेमाल न कर। इसक
े अलावा
पेटो लयम, ऑयल, ीस बे ड म या वैसलीन जैसे िकसी भी ोड ट को छाती या शरीर क
े िकसी िह से पर न
लगाए।
ं
घर म इ तेमाल होने वाली क
ै िमकल से बनी खुशबूदार अगरब ी या धूपब ी क
े धुएं क
े संपक म भी न आए।
ं
अगर आप ऑ सीजन कॉ सनटेटस का इ तेमाल कर रहे ह तो अपने दरवाजे या खडिकयां खोलकर रख।
़
25. 25
पॉ ज टव रह
नकारा मकता से खुद को ऐसे रख दर
ू
िदनभर यूज न देख : टीवी पर िदनभर कोरोना वायरस क खबर न देख। अमूमन टीवी पर कोरोना वायरस
पॉ ज टव और इससे मरने वाल का आंकडा ही बताया जा रहा ह।
ै िदनभर ये ही आंकडे देखने का िदमाग पर
़ ़
बुरा असर पडता ह।
ै इस लए टीवी पर अ य मनोरंजक काय म भी देख। प रवार क
े अ य सद य को भी बताएं
़
िक कोरोना वायरस पीिडत क सं या बार-बार देखना ज री नह ह।
ै यह ि क
े ट मैच का कोर नह ह।
ै
़
सोशल मीिडया पर अ छी बात फ
ै लाएं : इसी तरह इट
ं रनेट से भी कोरोना वायरस से जुडी नकारा मक
़
जानकारी अपने िदमाग म न जाने द। ज री है तो इससे जुडी पॉ ज टव खबर पढ। िकस तरह लोग कोरोना
़ ़
वायरस को मात दे रहे ह, यह जानने क को शश कर। सोशल मीिडया ेटफॉम का इ तेमाल करते समय
कोरोना वायरस से जुडे गैर ज री और नकारा मक मैजेस आगे न बढाए।
ं यह सोच िक इन मैसेजेस का उन
़ ़
लोग पर या असर पडता होगा, जो मानिसक प से कमजोर ह। यिद मैसेज करना ही है तो लोग को बार-बार
़
यह बताएं िक हम सुर त ह। िकसी तरह िचंता क बात नह ह।
ै
संगीत का सहारा ल : िदमाग को थर और मजबूत करने क
े लए धीमी आवाज म अपनी पसंद का संगीत
सुने। www.myupchar.com क
े अनुसार, कई बार संगीत दवाओं से यादा असर िदखाता ह।
ै
खुद को िबजी रख : खुद को िकसी न िकसी काम म लगाए रख। ऑिफस क
े साथ ही घर क
े काम म भी हाथ
बंटाए।
ं घर म अनुशासन बनाए रख। सभी सद य समय-समय पर हाथ धोए।
ं
इस लए ज री है पॉ ज टव रहना
मु कल भरे इस दौर म िदमागी तौर पर सकारा मक रहना इस लए भी ज री है िक यह सकारा मकता
बीमा रय से लडने क ताकत दान करती ह,ै जसे इ यून िस टम कहते ह। जन लोग का मूड अ छा होता ह,ै
़
उ ह लड ेशर, हायपरटशन जैसी सम याएं नह होती ह। ऐसे लोग म ऊजा बनी रहती ह।
ै
26. 26
खोयी यी शि क
ै से वापस लाएं ?
अ छा पोषण कोिवड-19 रोिगय और उन लोग क
े लए ब त ज री ह,ै जो धीरे-धीरे रकवर हो रहे ह। दरअसल,
कोिवड-19 क
े दौरान शरीर ब त कमजोर हो जाता ह।
ै ल ण से उभरने क
े बाद भी कई िदन तक यि अ छा
फ ल नह करता। इस तरह ज दी रकवर होने क
े लए सही तरह क
े आहार का सेवन करना ब त ज री ह।
ै
साथ ही थोड़ी-२ ए सरसाइज एवं वॉक करने से आपमे कॉ फडस आएगा |
27. 27
इमोशनल टथ क
ै से वापस लाएं ?
कोरोना काल म नकारा मकता ना होने द हावी, आंत रक ेरणा से भगाएं िनराशा
कोरोना काल म खुद को सकारा मक रखने क ज रत है
Ÿ
छोटे-छोटे ल य को हािसल करने से ेरणा िमलेगी
Ÿ
सकारा मक रहगे तो कोरोना से लडने म मदद िमलेगी
Ÿ ़
सकारा मकता का िदमाग से या है कने शन?
िवशेष का मानना है िक जब इस
ं ान भले काम करता है तो म त क क
े स कट गितिविध करते ह जो खुद
क भलाई म अहम भूिमका िनभाते ह यािन िक दसर क देखभाल खुद क
े लए तोहफा ह।
ै जनका म त क
ू
क ी ं टल कॉट स क
े बाएं िह से पर भावना मक दि कोण क त होता है वह यादा सकारा मक रहते ह।
ृ
28. 28
खुद कोरोना पर िवजयी होने पर कर दसर क मदद
ू
कोरोना को मात देकर दसर को राह िदखा रहे कोरोना यो ाओं का कहना है िक िचिक सक क परामश ल,
ू
जो भी िचिक सक बताए,ं उसका पालन कर, ज रत पड़ने पर अ पताल म भत ह और बस 10 से 15 िदन धैय,
संयम और सावधानी रख, खुद िह मत रख और दसर क भी िह मत बंधाकर कोरोना का परा त कर। ह का
ू
सा बुखार आया, पहले घर पर ही इलाज करते रह,े लेिकन िफर सोचा िक अपने साथ अ य लोग क सुर ा क
े
लए सावधानी ज री ह।
ै
कोरोना से लड़ रहे दसरे मरीज का उ साह बढ़ाए एवं ज रत मंद लोग को ा मा डोनेट कर |
ू
29. 29
कोरोना से जुड़े क
ु छ खास सवाल
कोिवड -19 का सार
कोिवड-19 क
ै से फ
ै लता है?
िकसी भी यि को कोिवड-19 उन लोग से हो सकता है जनम इस वायरस का सं मण ह।
ै जब कोिवड-19
से सं िमत यि खांसता, छीकता है या सांस छोडता है तो उसक
े नाक या मुंह से िनकली छोटी बूंद से यह रोग
़
दसरे म फ
ै ल सकता ह।
ै ये बेहद न ही बूंद उस यि क
े आस-पास क दसरी चीज और सतह पर भी िगर
ू ू
सकती ह।
ै दसरा यि उस सामान या सतह क
े संपक म आने क
े बाद अपने मुंह, नाक या आंख को छने से भी
ू
ू
कोिवड-19 से सं िमत हो सकता ह।
ै लोग सं िमत यि क
े खांसने या सांस छोडने से िनकली बूंद को सांस
़
क
े ज रए अंदर लेने से भी सं िमत हो सकते ह। इस लए यह मह वपूण है िक बीमार यि से 3-6 फ ट या 1-2
मीटर दर रहा जाए।
ू
या उस यि से कोिवड-19 हो सकता है जसे कोई ल ण नह ह?
यादातर लोग यह बीमारी तभी फ
ै लाते ह जब उनक
े ल ण िदि गोचर होने लगते ह, यानी वे बीमार हो चुक
े होते
ह। य िक इस बीमारी क
े फ
ै लने का सबसे मुख मा यम खांसने या छ कने से िनकली बूंद ह। हालांिक यह
संभव है िक क
ु छ मामल म ल ण सामने आने से पहले भी सं मण फ
ै ले। इस लए जन लोग म ल ण नह ह,
उनक
े साथ भी एक तय शारी रक दरी बनाए रखने क सलाह दी जाती ह।
ै
ू
या ऐसा यि जसे कोरोना-19 क
े लए ारंटाइन िकया गया है, इस बीमारी
को फ
ै ला सकता है?
ारंटाइन का मतलब है सं ामक बीमारी क जड़ म आ चुक
े लेिकन अब तक ल ण िवकिसत नह ए
िकसी यि या यि य क
े समूह को ऐसे लोग से अलग रखना, जो इस वायरस क जद म नह आए ह।
ारंटाइन का उ े य इस बीमारी क
े फ
ै लाव को रोकना ह।
ै िकसी यि को कोिवड-19 जैसे वायरस क
े संपक
म आने क
े 10 िदन क
े अंदर ही ल ण िवकिसत हो जाते ह। इस लए जन लोग क
े वायरस क
े संपक म आने
का डर ह,ै उ ह 10 िदन क
े लए अलग रखना ज री होता ह।
ै इस अविध क
े दौरान वे अलग नह रहे तो बीमारी
को दसर म भी फ
ै ला सकते ह। ारंटाइन क अविध क
े बाद माना जाता है िक उनसे इस बीमारी क
े फ
ै लाने
ू
का डर नह ह।
ै
30. या भोजन क
े मा यम से भी कोिवड-19 फ
ै ल सकता है?
आम तौर पर कोरोना वायरस एक यि क सं िमत बूंद क
े दसरे यि क
े वशन तं म प च
ं ने से ही फ
ै लता
ू
ह।
ै अब तक खाने-पीने क
े सामान से कोरोना वायरस फ
ै लने क
े कोई माण नह िमले ह। खाना तैयार करने या
खाने से पहले सामा य खा सुर ा क
े लहाज से भी हमेशा साबुन और पानी से 20 सेकड तक हाथ धोना ब त
ज री ह।
ै नाक साफ करने, खांसने, छ कने या शौचालय का उपयोग करने क
े बाद अपने हाथ को धोना ब त
ज री ह।
ै
यह संभव है िक िकसी यि ने ऐसे सामान या सतह को छआ हो जहां यह वायरस हो और िफर उसने अपने मुंह,
ू
नाक या आंख को छआ हो तो उसे कोिवड-19 हो जाए, लेिकन इसे इस वायरस क
े फ
ै लने का मु य तरीका
ू
नह माना गया ह।
ै
सामा य तौर पर, कोिवड-19 को िकसी सतह पर लंबे समय तक जीिवत रहना मु कल होता ह,ै इस लए खाने-
पीने क चीज या ऐसे पैक
े ट ज ह कई िदन अथवा स ाह पहले म तापमान या िनयंि त तापमान अथवा
जमा देने वाले तापमान पर भेजा गया हो उनसे कोिवड-19 होने का खतरा ब त कम ह।
ै
जन े म कोिवड-19 फ
ै ला हो, वहां से कोई पैक
े ट ा करना सुर त है?
हां। इस बात क आशंका ब त कम है िक कोिवड-19 से सं िमत यि िकसी पैक
े ट क साम ी को सं िमत
कर देगा। चूंिक ये पैक
े ट िव भ प र थितय और तापमान म लाए जाते ह तो इस बात क भी आशंका ब त
कम है िक पैक
े ट क
े बाहरी िह से से लोग को कोिवड-19 हो जाए। हालांिक सलाह दी जाती है िक िकसी दसरे
ू
क
े हाथ से आए ए िकसी भी सामान को छने क
े बाद आप अपने हाथ को साबुन और पानी से 20 सेकड तक धो
ू
ल।
ल ण, परी ण, उपचार
कोिवड-19 क
े ल ण या ह?
कोिवड-19 क
े मु य ल ण बुखार, खांसी और सांस लेने म सम या ह।
ै बीमार को थकान, बदन दद और नाक
जाम होना, गले म खराश, वाद या सूघने क मता घटना और उ टी-द त क सम या भी हो सकती ह;ै
हालांिक क
ु छ लोग जो इससे सं िमत हो जाते ह, उनको कोई भी ल ण नह होते। इससे सं िमत होने वाले
अिधकांश लोग को िकसी िवशेष इलाज क ज रत नह होती। लेिकन क
ु छ लोग बेहद गंभीर प से बीमार हो
जाते ह और उ ह सांस लेने म परेशानी होने लगती ह।
ै ऐसे िकसी भी ल ण क
े आने पर अपने डॉ टर से बात
कर।
30
31. अगर लगता है िक म बीमार हो गया ं तो मुझे या करना चािहए?
अगर आपको कोिवड-19 क
े ल ण ह तो आप घर पर ही रह और दसर से जहां तक हो सक
े दरी बनाए रख।
ू ू
अगर आपको लगता है िक आप कोिवड-19 क
े सं मण क
े दायरे म आ गए ह और बुखार या कफ और सांस
लेने म परेशानी जैसे दसरे ल ण पैदा हो रहे ह तो अपने डॉ टर से सलाह ल। अिधकतर लोग घर पर ही ठीक हो
ू
जाते ह; लेिकन अगर आपको लगे िक थित यादा खराब हो रही है तो अव य उपयु इलाज हािसल कर।
अगर आप िकसी डॉ टर क
े पास या अ पताल जाते ह तो पहले ही बता द िक आपको कोिवड-19 हो सकता है
तािक वा य सेवा देने वाले खुद को सुर त रख सक।
खुद को और मेरे प रवार को क
ै से बचाये
कोिवड-19 का खतरा कम करने क
े लए मेरा प रवार या कदम उठा सकता है?
कोिवड-19 से बीमार होने क
े खतरे को कम करने क
े लए बचाव क
े उपाय आप खुद भी रोजाना अपनाएं और
साथ ही अपने घर क
े सभी लोग को भी ऐसा करने क
े लए कह। ये कदम खास तौर पर बुजुग और पहले से
बीमार लोग क
े लए ज री ह:
बीमार लोग क
े संपक म आने से बच।
Ÿ
अगर आप बीमार ह तो डॉ टर से इलाज करवाने क
े अलावा घर पर ही रह।
Ÿ
फ
े स कवर या मा क पहन।
Ÿ
खांसते समय या छ कते समय कोहनी क
े अंद नी िह से से मुंह को ढक या टशू पेपर का उपयोग कर उसे
Ÿ
ड टबीन म फ
े क। इसक
े बाद अपने हाथ साबुन धोए।
ं
अपने हाथ को साबुन और पानी से अ छी तरह 20 सेकड धोए,ं खास तौर पर नाक को साफ करने क
े बाद,
Ÿ
खांसने या छ कने क
े बाद, शौचालय क
े योग क
े बाद और भोजन बनाने या खाना खाने क
े पहले।
अगर साबुन और पानी उपल ध नह ह तो आप अ कोहल आधा रत हड सेनेटाइजर का उपयोग कर सकते
Ÿ
ह, जसम कम से कम 60% अ कोहल हो। हाथ अगर गंदे िदख रहे ह तो अव य उसे साबुन और पानी से
धोए।
ं
जन सतह को लोग बार-बार छते ह, उनको साफ और क टाणुमु कर (जैसे फोन, दसरे एले टॉिनक
ू
Ÿ ू
सामान, टेबल, काउंटर, िबजली उपकरण क
े वच, दरवाजे क
े हडल और आ मा रय क
े हडल)
टीका लगवाए।
ं
Ÿ
31
32. कोिवड-19 का कोई टीका है?
COVID-19 को रोकने क
े लए दो टीक
े ह, और क
ु छ िवकास म ह।
ै भारत म क ीय ड स टडड क
ं टोल
ऑगनाइजेशन (CDSCO) ारा आपातकालीन उपयोग क
े लए अिधक
ृ त िकए गए दो टीक
े कोिव श ड® (सीरम
इं टी ूट ऑफ इि
ं डया ारा िन मत ए टोजेनेका का टीका) और कोवा सन® (भारत बायोटेक लिमटेड ारा
िन मत) ह।
32